बढ़ते प्रदूषण से हर कोई परेशान है सांस लेने के दौरान भीतर जाने वाली प्रदूषित हवा से बच पाने में हम असहाय हैं ऐसे में इस के बुरे असर को कम करने में खाने की कुछ चीजें उपयोगी साबित हो सकती है | दोस्तों हम इसके बारे में आपको पूरी जानकारी से बताते हैं कि प्रदूषण से बचने के लिए किन-किन महत्वपूर्ण चीजों का उपयोग कर हम प्रदूषण से बच सकते हैं
पोटेशियम की कमी से सांस लेने में परेशानी आती है केला इसकी कमी पूरी करता है पायरिडोक्सिन विटामिन B का अच्छा स्रोत है जो उन मोलेक्युल्स के निर्माण में अहम भूमिका निभाता है जिनसे ब्रोन्कायल मसल टिश्यु को आराम मिलता है सीताफल भी विटामिन B का अच्छा स्रोत है
इसकी मदद से गले और भोजन की नली से कफ या बलगम हटाने में मदद मिलती है यह सांस की नली के इंफेक्शन को भी रोक सकती है लौंग की चाय लाभकारी है | जब भी आप बाहर जाए तो 1 लोग जीभ के नीचे दबा ले और धीरे-धीरे चूसते रहे |
दोस्तों लहसुन को बहुत उपयोगी माना जाता है इसका उपयोग करने से काफी बीमारियां दूर होती है इसी तरह लहसुन फेफड़ों के तनाव को घटाता है और फेफड़ों तक खून पहुंचाने वाली नलियों को चुस्त रखता है |
दोस्तों अंगूर महत्वपूर्ण फल माना गया है इसका उपयोग शरीर के लिए बहुत लाभदायक है इसमें पाए जाने वाला विटामिन फेफड़ों की कोशिकाओं की परत की सूजन कम करता है इससे फेफड़े प्रदूषित कारणों से लड़ने के लिए तैयार होते हैं जिससे शरीर स्वस्थ रहता है |
दोस्तों आंवला बहुत ही उपयोगी है आंवले के उपयोग से काफी बीमारियां दूर की जा सकती है जैसा कि हमने आपको पहले भी आंवले के उपयोग के बारे में बताया है कि आंवला कितना महत्वपूर्ण माना जाता है आंवला पर्यावरण प्रदूषण से फेफड़ों को जो नुकसान पहुंचाता है उसे कम करने में विटामिन C का बहुत अच्छा स्रोत आंवला भी मददगार है| रोजाना एक आंवला आहार में शामिल करें या मौसम के अनुसार संतरा अमरुद खाइए
मानव शरीर की नलियों की रुकावट दूर करने में हल्दी मददगार है खांसी, दमा जैसी सांस की बीमारियों कम करती है इसमें मौजूदा करक्यूमिन सूजन को कम करता है|
फेफड़ों की क्षमता को बढ़ाकर सांस लेना आसान बनाता है इसमें कवसेटिन और खेलिन नाम के दो फ्लेवोनाइड होते हैं जो सांस लेने की प्रक्रिया को सुगम बना सकते हैं इसलिए सेब का उपयोग रोजाना दवा के रूप में या नाश्ते के रूप में करना चाहिए |
बीटा कैरोटीन गाजर आंखों की रोशनी तेज करने के साथ हमारे फेफड़ों को विषकारी प्रभाव से मुक्त करती है
अलसी के बीज में फायटोस्ट्रोजन और ओमेगा 3 फैटी एसिड होते हैं इनके एंटीऑक्सीडेंट गुण से पर्यावरण प्रदूषण के एलर्जी वाले दुष्प्रभाव से लड़ना आसान हो जाता है
दोस्तों अदरक के बारे में हम हमने आपको हमारी पहले की पोस्ट में काफी अच्छी तरीके से बता दिया है कि अदरक का क्या उपयोग है और यह खाना कितना लाभकारी है और कितना हानिकारक है लेकिन अदरक एक ऐसा तत्व है इसके खाने से मानव शरीर अच्छी तरीके से काम करने लगता है और इसका उपयोग करने से हमारी कई बीमारियां दूर हो जाती है अदरक को सुबह शाम अदरक वाली एक कप चाय पीजिए इसमें वायु प्रदूषण के करण अपनी जगह छोड़ देंगे और फेफड़ों को कम नुकसान पहुंचाएंगे
ग्रीन टी में पाए जाने वाले तत्व मानव शरीर के फेफड़ों से जहरीले प्रदूषण कणों को बाहर निकालने में मदद करते हैं इसलिए ग्रीन टी का उपयोग करना चाहिए ताकि प्रदूषण से बचा जा सके |